प्रॉपर्टी टैक्स शाखा में वार्ड वाइज विंडाे पर 11 क्लर्क बैठेंगे, फाइल कहां अटकी, हाेगी ट्रैकिंग

 प्राॅपर्टी टैक्स जमा कराने व रिकाॅर्ड ठीक करने के लिए अब नगर निगम में शहरवासियाें काे धक्के नहीं खाने पड़ेंगे। पार्षदाें के साथ टैक्स ब्रांच में एंट्री न करने के विवाद के बाद अधिकारियाें ने सुधार के लिए काम करना शुरू कर दिया है। कमिश्नर अशाेक कुमार गर्ग ने बंद पड़े सेंटरलाइज फाइल मॉनिटरिंग सिस्टम काे दाेबारा शुरू करने के लिए अधिकारियाें व कर्मचारियाें काे निर्देश दिए हैं।

अब टैक्स ब्रांच में जमा हाेने वाली हर एक फाइल मॉनिटर हाेगी। टैक्स ब्रांच में वार्ड वाइज प्राॅपर्टी संबंधित शिकायतें निपटाने के लिए निगम ने 11 विंडाे बनाई है। काॅलाेनी काेड व वार्ड वाइज संख्या के हिसाब से एक क्लर्क के पास वही काम हाेगा। टैक्स ब्रांच काे अब काॅर्पाेरेट लुक दिया है। पूरे टैक्स ब्रांच का इन्फ्रास्ट्रक्चर बदला गया है। लाेग सीधे कार्यालय के अंदर न जा सके और फाइलाें के साथ छेड़छाड़ न करे। इसकाे लेकर सतर्कता के हिसाब से ऑफिस सेटअप माेडिफाई किया है।

सीएमएफएस और इसके फायदे

एक ऐसा सिस्टम है जिससे नगर निगम कार्यालय में या हाउस टैक्स में जमा हाेने वाली हर एक फाइल की मॉनिटरिंग हाेगी। यानी जब काेई प्राॅपर्टी मालिक रिकाॅर्ड ठीक करने या नाम चेंज सहित अन्य कार्य के लिए फाइल जमा कराएगा ताे उसे एक नंबर दे दिया जाएगा। इस नंबर के हिसाब से फाइल आगे संबंधित ब्रांच अधिकारियाें के पास जाएगी। किस कर्मचारी के पास कितने दिन यह काम पेंडिंग रहा और वर्तमान में किसके पास फाइल पड़ी है इसका पूरा हिसाब किताब हाेगा। कर्मचारी की जवाबदेही रहेगी। समय पर काम होगा।

कमियां छिपाने के चक्कर में बंद था सीएमएफएस

टैक्स ब्रांच में आए दिन हाे रहे विवाद का बड़ा कारण सीएमएफएस काे बंद करना था। टैक्स ब्रांच के अधिकारियाें व कर्मचारियाें ने इस सिस्टम काे बंद किया हुआ था और मनमर्जी से काम कर रहे थे। यानी मैनुअल काम किया जा रहा था। इसके कारण ही जब मामला खुला ताे सैकड़ाें फाइलें क्लर्काें के दराजाें में मिली थीं। हालांकि कमिश्नर अशाेक गर्ग के सामने जब ये मामला आया ताे उन्हाेंने इस तरह के कार्य करने वाले स्टाफ काे सीट से हटा दिया।

31 अक्टूबर तक है ब्याज पर 100 प्रतिशत छूट

शहरवासियों के लिए प्राॅपर्टी टैक्स में छूट का लाभ उठाने के लिए 11 दिन बचे हैं। प्राॅपर्टी टैक्स के ब्याज, एरियर आदि पर 31 अक्टूबर तक विशेष छूट दी है। जिन प्राॅपर्टी मालिकों ने अभी तक प्राॅपर्टी टैक्स नहीं भरा है, वह छूट का लाभ उठा सकते हैं।


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