वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आम बजट पेश किया तो उम्मीद के मुताबिक कोरोना का हवाला देकर अर्थव्यवस्था में मंदी की बात स्वीकारी, लेकिन उसके बाद उनका जोश देखते बना। उन्होंने दावा किया कि हम एक नया भारत बनाने जा रहे हैं जो डिजिटल के साथ आत्मनिर्भरता हासिल करने के लक्ष्य पर चलेगा।
वित्त मंत्री ने कहा कि लॉकडाउन खत्म होने के बाद सरकारी खर्च बढ़ाया गया है। 2020-21 में 30.42 लाख करोड़ रुपए के सरकारी खर्च का अनुमान था, जो बढ़कर 34.5 लाख करोड़ रुपए हो गया। 2020-21 में राजकोषीय घाटा जीडीपी का 9.5% है। इसकी भरपाई के लिए हमें 80 हजार करोड़ रुपए और चाहिए। इसके लिए हमें बाजार से उम्मीद है। 2021-22 में 34.83 लाख करोड़ रुपए के सरकारी खर्च का अनुमान है। 2021-22 में राजकोषीय घाटा जीडीपी का 6.8% रहने का अनुमान है। 2025-26 तक इसे घटाकर 4.5% करना चाहते हैं। उन्होंने राज्यों से अपील की कि वे अपना घाटा 3% तक लेकर आएं।
सरकार ने इस बजट में दिखाया है कि अब प्राथमिकता आत्मनिर्भर और डिजिटल इंडिया है। आत्मनिर्भरता के लिए आत्मनिर्भर भारत 1.97 लाख करोड़ रुपए तो डिजिटल इंडिया के लिए 3700 करोड़ रुपए का प्रावधान इस बजट में किया गया है। अगली जनगणना भी डिजिटल होगी। इस पर 3768 करोड़ रुपए खर्च होंगे। बजट में चुनावी राज्यों का खासा ख्याल रखा गया है।
- रोड इन्फ्रास्ट्रक्चर के लिए इकोनॉमिक कॉरिडोर बनाए जाएंगे।
- बंगाल में 25 हजार करोड़ रुपए की लागत से हाईवे बनेंगे।
- 3500 किमी नेशनल हाईवेज प्रोजेक्ट के तहत तमिलनाडु में 1.03 लाख करोड़ रुपए खर्च होंगे।
- 1100 किमी नेशनल हाईवे केरल में बनेंगे।
- भारतमाला प्रोजेक्ट के लिए 3.3 लाख करोड़ रुपए दिए जा चुके हैं।
- आत्म निर्भर स्वास्थ्य योजना के लिए 64 हजार करोड़ का फंड रखा गया है।
- कोरोना वैक्सीन पर 2021-22 में 35,000 करोड़ खर्च किए जाएंगे।
- मिशन पोषण 2.0 शुरू किया जाएगा।
- 602 जिलों में क्रिटिकल केयर हॉस्पिटल शुरू होंगे।
- नेशनल सेंटर फॉर डिसीज कंट्रोल को मजबूत किया जाएगा।
- इंटीग्रेटेड हेल्थ इन्फॉर्मेशन पोर्टल शुरू किया जाएगा ताकि पब्लिक हेल्थ लैब्स को कनेक्ट कर सकें।
- 15 हेल्थ इमरजेंसी ऑपरेशन सेंटर्स शुरू किए जाएंगे।
- इनकम टैक्स की स्लैब पहले की तरह से रहेगी, लेकिन 75 साल और उससे ज्यादा उम्र के सीनियर सिटीजंस को अब IT रिटर्न फाइल करने की जरूरत नहीं होगी।
- टैक्स आडिटि की लिमिट 5 करोड़ से 10 करोड़ करने का प्रस्ताव किया गया है
- घर खऱीदने पर 1.5 लाख की राहत 31 मार्च 2022 तक जारी रहेगी।
- पीएफ देर से जमा करने पर जुर्माना नहीं लगेगा।
- पेंशन से होने वाली कमाई पर सरकार ने टैक्स न लेने का फैसला किया है।
- 100 नए सैनिक स्कूलों की शुरुआत होगी।
- लद्दाख में हायर एजुकेशन के लिए लेह में सेंट्रल यूनिवर्सिटी बनाई जाएगी।
- आदिवासी क्षेत्रों में 750 एकलव्य मॉडल स्कूलों में सुविधाओं का सुधार होगा।
- अनुसूचित जाति के 4 करोड़ बच्चों के लिए 6 साल में 35219 करोड़ रुपए खर्च होंगे।
- वन नेशन, वन राशन कार्ड को 32 राज्यों में लागू किया जाएगा।
- उज्ज्वला योजना का फायदा 1 करोड़ और महिलाओं तक पहुंचाया जाएगा।
- शहरी इलाकों के लिए जल जीवन मिशन शुरू किया जाएगा।
- शहरी स्वच्छ भारत मिशन पर 1.48 लाख करोड़ 5 साल में खर्च होंगे।
- इंश्योरेंस सेक्टर में एफडीआई को 49% से बढ़ाकर 74% किया जाएगा।
- सरकारी बैंकों में 20,000 करोड़ का निवेश किया जाएगा
- बैंकों को एनपीए से छुटकारा दिलाने के लिए एसेट रिकंस्ट्रक्शन कंपनी और एसेट मैनेजमेंट कंपनी बनाई जाएगी।
- सरकार ने एलआईसी का शेयर लांच करने की बात कही है।
- 2021-22 में एग्रीकल्चर क्रेडिट टारगेट 16.5 लाख करोड़ का है।
- ऑपरेशन ग्रीन स्कीम में जल्द खराब होने वाली 22 फसलों को शामिल किया जाएगा।
- एग्रीकल्चर इन्फ्रास्ट्रक्चर फंड तक एपीएमसी की भी पहुंच होगी।
- कोच्चि, चेन्नई, विशाखापट्टनम, पारादीप और पेटुआघाट जैसे शहरों में 5 बड़े फिशिंग हार्बर बनेंगे।
- तमिलनाडु में मल्टीपर्पज सी-विड पार्क बनेगा।
- बजट में 1.10 लाख करोड़ रुपए रेलवे को दिए गए हैं। 1.07 लाख करोड़ रुपए सिर्फ कैपिटल एक्सपेंडिचर के लिए हैं। रेलवे ने नेशनल रेल प्लान 2030 बनाया है ताकि फ्यूचर रेडी रेलवे सिस्टम बनाया जा सके और लॉजिस्टिक कॉस्ट कम की जा सके।
- जून 2022 तक ईस्टर्न और वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर तैयार हो जाएगा।
- शहरी इलाकों में बस ट्रांसपोर्ट सिस्टम शुरू किया जाएगा। 20 हजार बसें तैयार होंगी।
- 702 किमी मेट्रो अभी चल रही हैं। 27 शहरों में कुल 1016 किमी मेट्रो पर काम चल रहा है।
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